नई डेडलाइन ने बढ़ाई फरीदाबाद-ग्रेटर नोएडा की दूरियां, मंझावली पुल परियोजना का काम अब अगले साल तक होगा पूरा
फरीदाबाद: और फरीदाबाद को जोड़ने वाली का काम अब मार्च 2024 तक पूरा हो सकेगा। परियोजना के दोनों चरण का काम पूरा करने के लिए पीडब्ल्यूडी ने यह नई डेडलाइन तय की है। इसमें पुल की अप्रोच रोड के साथ पुल को फरीदाबाद शहर से जोड़ने वाली सड़क को चौड़ा करने का काम शामिल है।फरीदाबाद व ग्रेटर नोएडा को जोड़ने के लिए मंझावली पुल परियोजना पर काम चल रहा है। यह परियोजना दो चरणों में पूरी की जा रही है। पहले चरण में पुल व उसकी अप्रोच रोड बनाने का काम किया जा रहा है। दूसरे चरण में पुल को शहर से जोड़ने वाली 19 किमी लंबी सड़क को चौड़ा करने का काम किया जा रहा है। दोनों चरण का काम पूरा कर परियोजना को पूरी तरह से तैयार करने के लिए पहले मार्च 2023 तक की डेडलाइन तय की गई थी। उसके बाद दिसंबर 2023 और अब PWD ने मार्च 2024 तक पूरा करने का दावा किया है। फिलहाल क्या है काम की स्थितिमौके पर काम की स्थिति को देखें तो पहले चरण के तहत यमुना नदी पर पुल तैयार है। यमुना पार के हिस्से में लगभग 900 मीटर लंबी अप्रोच रोड बनाने का काम चल रहा है, लेकिन गांव मंझावली की तरफ अप्रोच रोड का काम बंद है। इस काम को तीन से चार महीने में पूरा करने की बात कही जा रही है। इसके बाद पुल को ट्रैफिक के लिए खोला जा सकेगा। दूसरे चरण के तहत मंझावली से फरीदाबाद को जोड़ने वाली सड़क काम शुरू किया जा रहा है। रोड के साथ लगे बिजली के खंभों को शिफ्ट करने का काम किया जा रहा है। पेड़ों की कटाई का काम चल रहा है। पुरानी सड़क को उखाड़ दिया गया है। जगह-जगह पानी निकासी के लिए छोटे नाले तैयार हैं और गांव नचौली के पास से सड़क की खुदाई करने का काम शुरू कर दिया है। क्या हैं देरी के कारणनदी पर पुल 2023 की शुरुआत में ही तैयार हो गया था, लेकिन पैसा जारी न होने से अप्रोच रोड का काम रुका हुआ था। अब PWD ने जल्द ही भुगतान करने की बात कहकर काम को शुरू करा दिया है। सड़क को चौड़ा करने का काम पेड़ों को काटने की मंजूरी न मिलने से रुका हुआ था। वन विभाग से मंजूरी मिलने के बाद अब पेड़ों की कटाई शुरू हो गई है और रोड पर काम भी शुरू हो गया है।
from https://navbharattimes.indiatimes.com/state/punjab-and-haryana/faridabad/new-deadline-of-manjhawali-bridge-project-has-increased-the-distance-between-faridabad-and-greater-noida/articleshow/100731675.cms